विद्यालयों के एकलकरण पर सचिव आदेश की अनदेखी: अब ज़मीनी स्तर पर शिक्षकों के संघर्ष की बारी - हिमांशु राणा

विद्यालयों के एकलकरण पर सचिव आदेश की अनदेखी: अब ज़मीनी स्तर पर शिक्षकों के संघर्ष की बारी - हिमांशु राणा 

सचिव बेसिक शिक्षा विभाग के द्वारा लगातार आदेश निकाले गए क्रमशः 01/July/2025 & 08/August/2025 को जिनमें सीधे तौर पर कहा गया था कि विद्यालय एकल नहीं होने चाहिए लेकिन हक़ीक़त आप भी जानते हैं कि इसका complaince किसी भी स्तर पर नहीं हुआ लेकिन अब जब से याचिका पड़ी है और सरकार ने देखा है कि याचिका में RTE act के अनुपालन हेतु section 25 और माननीय सर्वोच्च न्यायालय के विभिन्न आदेशों को लेकर माँग की गई है उसी क्रम में BSA केवल आदेश निकाल रहे हैं जबकि हक़ीक़त में ज़मीनी स्तर पर कुछ नही हो रहा है। 

विद्यालय एकल कैसे हुए ? 

इसका एक सबसे बड़ा कारण है जो हेड शिक्षक थे उनको ATUPS बनाकर भेजा गया जिसमें NCTE norms को तो दरकीनार किया ही गया साथ ही विद्यालय एकल करके RTE के मानकों का उल्लंघन किया गया। 

दूसरा कारण है स्वार्थ, ऐसे शिक्षक जिन्होंने अपनी सुविधानुसार विद्यालय चुने और विद्यालय एकल करके छोड़कर चले गए। 

मैं समझाता रहा कि न जाओ ये TRAP है फिर वापिस आना होगा लेकिन नहीं माने और Form डालते रहे, उत्तर-प्रदेश में एकमात्र मैं था जो form डालने के लिए मना कर रहा था लेकिन आपने उनकी सुनी जिन्हें न नियमों का पता था और कहते थे ऐरी कुछ न होगा एक बार चले गए तो। 

इन दो कारणों की काट ढूँढकर आप न्यायालय में हमारे समक्ष खड़े हो आपका स्वागत है। 

ख़ैर इनको छोड़िए अब ऐसे शिक्षक जिनके विद्यालय एकल हो गए हैं उनके ज़मीनी स्तर पर कार्य करने का समय आ गया है इसलिए ऐसे शिक्षक जिनके विद्यालय एकल हुए हैं और ज़मीनी स्तर के साथ-साथ टीम के साथ कार्य करना चाहते हैं वे दिए हुए लिंक को click करके समूह में जुड़ें।

एक बात का विशेष ध्यान दीजिएगा समूह में जुड़ें तो सोचकर इधर-उधर की बात न हम करते हैं न करने देंगे, शिक्षकों की परेशानी के लिए लड़ रहे हैं तो सीधा सी बात हर स्तर पर सहयोग की अपेक्षा है। 

जल्द ही इसके लिए जिले स्तर पर ज्ञापन दिलवाया जाएगा ऐसे शिक्षकों से जिनका विद्यालय एकल हो गया और सचिव के आदेश को दरकीनार किया जा रहा है। 

#rana 

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