अब यूपी बोर्ड परीक्षा में नकल कराने पर आजीवन कारावास, एक करोड़ तक जुर्माना, वर्ष 2024 का अधिनियम लागू होगा

अब यूपी बोर्ड परीक्षा में नकल कराने पर आजीवन कारावास, एक करोड़ तक जुर्माना, वर्ष 2024 का अधिनियम लागू होगा

  • सॉल्वर गैंग पहली बार परीक्षा को प्रभावित करता है तो उसे तीन से 14 साल तक की सजा और 10 लाख से 25 लाख रुपये तक जुर्माना होगा।
  • यदि साल्वर गिरोह द्वारा यह अपराध दोहराया जाता है, तो उसे आजीवन कारावास और 50 लाख रुपये से 1 करोड़ रुपये तक का जुर्माना लगाया जाएगा।
  • बोर्ड परीक्षा 24 फरवरी से 12 मार्च तक होगी। परीक्षा के लिए 54.38 लाख छात्रों ने रजिस्ट्रेशन कराया है।

प्रयागराज: अब यूपी बोर्ड की हाईस्कूल और इंटरमीडिएट परीक्षाओं में भी उत्तर प्रदेश सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधनों की रोकथाम) अधिनियम 2024 लागू होगा। इसमें परीक्षा की शुचिता को प्रभावित करने, प्रश्नपत्र लीक करने, प्रश्नपत्र हल करने का प्रयास करने आदि के लिए सॉल्वर और सॉल्वर गैंग को आजीवन कारावास और 1 करोड़ रुपये तक के जुर्माने से दंडित किया जाएगा। इस संबंध में जल्द ही यूपी बोर्ड सचिव भगवती सिंह की ओर से सभी क्षेत्रीय अपर सचिवों और जिला विद्यालय निरीक्षकों को निर्देश जारी किए जाएंगे।

UP BOARD EXAM

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की नकल विहीन और निष्पक्ष परीक्षा कराने की मंशा के अनुरूप यूपी बोर्ड वर्ष 2025 की हाईस्कूल और इंटरमीडिएट परीक्षाओं की तैयारी कर रहा है। चूंकि यूपी बोर्ड परीक्षा क्वालिफाइंग है, इसलिए इसमें अनुचित साधन निवारण अधिनियम 2024 लागू किया जा रहा है। अभी तक यूपी बोर्ड परीक्षा में उत्तर प्रदेश सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधनों की रोकथाम) अधिनियम 1998 के तहत कार्रवाई की जा रही थी। इसमें यह प्रावधान था कि परीक्षा के निष्पक्ष संचालन के तहत यदि प्रश्नपत्र या उसके किसी भाग या प्रश्नपत्र की फोटोकॉपी बनाकर उसकी नकल करने का प्रयास किया जाएगा तो उस पर दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी। अधिकतम एक वर्ष का कारावास या रु. 5000 का जुर्माना या दोनों। नए कानून के तहत अगर कोई व्यक्ति या सॉल्वर गैंग पहली बार परीक्षा को प्रभावित करता है तो उसे तीन से 14 साल तक की सजा और 10 लाख से 25 लाख रुपये तक जुर्माना होगा। यदि साल्वर गिरोह द्वारा यह अपराध दोहराया जाता है, तो उसे आजीवन कारावास और 50 लाख रुपये से 1 करोड़ रुपये तक का जुर्माना लगाया जाएगा। नकलविहीन परीक्षा कराने के लिए यूपी बोर्ड न सिर्फ सीसीटीवी की निगरानी में परीक्षाएं कराएगा, बल्कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की मदद से परीक्षा केंद्रों के स्ट्रांग रूम में प्रश्नपत्रों की निगरानी करने की योजना पर भी काम कर रहा है। ब्यूरो जागरण

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