Very Important : सुप्रीम कोर्ट में NCTE का हलफ़नामा - कानून और नियम
सुप्रीम कोर्ट में NCTE का हलफ़नामा – कानून और नियम
- NCTE Act, 1993 – NCTE को शिक्षकों की योग्यता तय करने का अधिकार दिया।
- 2001 Regulations – न्यूनतम योग्यता निर्धारित की गई।
- RTE Act, 2009 – धारा 23 के तहत NCTE को “Academic Authority” घोषित किया गया।
- 2010 Notification (23.08.2010) – कक्षा I से VIII तक शिक्षक बनने के लिए TET पास करना अनिवार्य किया गया।
- 2014 Regulations – भर्ती और पदोन्नति दोनों के लिए TET को अनिवार्य बना दिया।
- 2017 Amendment – सभी अपात्र (untrained) शिक्षकों को 31.03.2019 तक प्रशिक्षण लेना आवश्यक किया।
अलग-अलग समयावधि में नियुक्त शिक्षकों की स्थिति
- 03.09.2001 से पहले नियुक्त शिक्षक न्यूनतम योग्यता से मुक्त (Exempted)।
- 03.09.2001 से 23.08.2010 तक नियुक्त शिक्षक 2001 Regulations के अनुसार योग्य माने जाएंगे, TET की आवश्यकता नहीं।
- 23.08.2010 से 29.07.2011 तक नियुक्त शिक्षक इनको TET पास करना अनिवार्य है (RTE Act लागू होने के बाद से)।
- 29.07.2011 के बाद नियुक्त शिक्षक संशोधित नियमों के तहत TET अनिवार्य है।
NCTE का वर्तमान स्टैंड
- पुराने शिक्षक (2001 से पहले वाले) पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
- 2001–2010 के बीच नियुक्त शिक्षक 2001 नियमों के हिसाब से मान्य रहेंगे।
- 2010 के बाद से नियुक्त शिक्षक बिना TET के न तो भर्ती हो सकते हैं और न पदोन्नति पा सकते हैं।
- In-service untrained teachers को 31.03.2019 तक न्यूनतम योग्यता हासिल करनी थी, अन्यथा सेवा में नहीं रह सकते।
सबसे महत्वपूर्ण (Very Important)
- TET = 23 अगस्त 2010 के बाद से अनिवार्य
- Promotion (पदोन्नति) के लिए भी TET अनिवार्य (2014 से लागू)।
- Relaxation (छूट) अब किसी को नहीं मिलेगी (खासकर कक्षा I–VIII के शिक्षकों को)
To be continued till order upload.........✍️


Social Plugin